
ऑपरेशन करने वाले सर्जन डॉं योगेश कुमार शर्मा, वरिष्ठ हैण्ड सर्जन, सी के बिरला हॉस्पिटल्स, आरबीएच, जयपुर ने बताया कि इमरजेंसी से बिना किसी विलंब के समय रहते माइक्रो सर्जरी करके खून का दौरा चालू किया गया।
डॉ. योगेश ने बताया कि इस तरह के चोट जिसमें हाथ या कोई्र हिस्सा कट कर अलग हो जाए तो उसे समय रहते 4 से 6 घंटे के अंदर अस्पताल लाया जाए तो माइक्रो सर्जरी करके उसे जोडा जा सकता है। इस तरह की चोट लगने की स्थिति में नजदीकी स्वास्थ्य केन्द्र जाकर ड्रेसिंग करवाई जाए जिससे खून का बहना रूके लेकिन कोई टांका ना लगवाया जाए।
कटे हुए अंग को प्लास्टिक की थैली या कन्टेनर में पैक करके कटे अंग की लम्बाई के हिसाब से बॉक्स लेकर उसमें बर्फ रखें फिर रूई या कपडे की परत बनायें व उसके ऊपर प्लास्टिक थैली में बंद अंग को रख कर अच्छे से बॉक्स को पैक कर दे व जल्द से जल्द माइक्रो सर्जरी की सुविधायुक्त अस्पताल में पहुंचे। अगर किसी तरह से माइक्रो सर्जरी की सुविधायुक्त अस्पताल में पहुंचने से पहले सूचना कर दे ंतो रोगी के लिए बहुत अच्छा होगा। डॉ. योगेश ने बताया की बच्चें का हाथ बिल्कुल ठीक है व उम्मीद है कि बच्चा अपने हाथ को दोबारा सही तरीके से उपयोग कर पायेगा।
रूकमणी बिरला हॉस्पिटल, जयपुर के बारे मेंः
रूकमणी बिरला हॉस्पिटल, जयपुर एक 230 बैड्स का एनएबीएच एक्रिडियटेड मल्टी-स्पेशियलिटी अस्पताल है जो जयपुर में रोगियों के लिए इनडोर एवं आउटडोर सेवाऐं प्रदान करता है। तीन प्रमुख सिंद्वान्तोंः क्लिनिकल उत्कृष्टता, नैतिक और रोगी केन्द्रित दृष्टिकोण के साथ मल्टी स्पेशियलिटी सुविधा द्वारा रोगी की जरूरतों को पूरा कर रहा है। कुशल डॉक्टरों द्वारा देखभाल, सतर्क नर्सिंग केयर, व्यवस्थित मेडिकल सेवाएंे यह सुनिश्चित करता है कि मरीजों और उनके परिवारों की अच्छी तरह से देखभाल हो।
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