जयपुर, 9 मई। जयपुर के 40 स्कूल शुक्रवार, 10 मई को आयोजित वर्कशॉप ‘डवलपिंग पेडागॉगीज ऑफ टीचिंग जियोग्राफी‘ में भाग लेंगे। यह कार्यशाला मानसरोवर के एक्सपीरियंस सेंटर में आयोजित की जाएगी। इस ओरिएंटेशन वर्कशॉप में शिक्षकों को कक्षा 6 से 12 के लिए टीचिंग प्रोजेक्टस बनाने के बारे में बताया जाएगा। एमएसएमएस द्वितीय म्यूजियम ट्रस्ट के एजुकेशन डायरेक्टर, संदीप सेठी ने यह जानकारी दी। इसका आयोजन महाराजा सवाई मानसिंह द्वितीय म्यूजियम ट्रस्ट द्वारा किया जा रहा है।
उन्होने आगे बताया कि इस वर्कशॉप में द पैलेस स्कूल, महाराजा सवाई भवानी सिंह स्कूल, टैगोर इंटरनेशनल स्कूल, संस्कार स्कूल, एसवी पब्लिक स्कूल, सेंट एडमंडस, सीडलिंग मॉडर्न हाई स्कूल, शांति एशियाटिक, दिशा स्कूल, आदि भाग लेंगे।
उल्लेखनीय है कि सिटी पैलेस में दिसम्बर के दूसरे सप्ताह में ‘लाइफ ऑफ रिवर्स इन इंडिया एंड ओवरसीज‘ विषय पर जयपुर हिस्ट्री फेस्व्टिवल 2019 का आयोजन किया जाएगा। इस बार फेस्टिवल में एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत रांची, ग्वालियर, इंदौर, गाजियाबाद, मुम्बई, अहमदाबाद आदि शहरों के 25 स्कूल मिल कर आउटस्टेशन रिवर्स पर अध्ययन सामग्री तैयार करेंगे। जयपुर के विद्यार्थी द्रव्यवती नदी का विश्लेषण करेंगे। इनके अलावा श्रीनगर, फ्रांस और ऑकलेंड के स्कूल भी स्काइप के जरिए इस फेस्टिवल से जुडेंगे।
4-दिवसीय फेस्टिवल में विद्यार्थी द्वारा स्व-संगीतबद्ध गीत, नृत्य, क्विज, लघु नाटक, रॉक बैंड प्रस्तुति, फिल्म प्रदर्शन, बुक लॉन्च, आदि शामिल होंगे। इसमें विभिन्न नदियों की तुलनात्मक जानकारी और इनके महत्व को भी दर्शाया जाएगा।
उन्होने आगे बताया कि इस वर्कशॉप में द पैलेस स्कूल, महाराजा सवाई भवानी सिंह स्कूल, टैगोर इंटरनेशनल स्कूल, संस्कार स्कूल, एसवी पब्लिक स्कूल, सेंट एडमंडस, सीडलिंग मॉडर्न हाई स्कूल, शांति एशियाटिक, दिशा स्कूल, आदि भाग लेंगे।
उल्लेखनीय है कि सिटी पैलेस में दिसम्बर के दूसरे सप्ताह में ‘लाइफ ऑफ रिवर्स इन इंडिया एंड ओवरसीज‘ विषय पर जयपुर हिस्ट्री फेस्व्टिवल 2019 का आयोजन किया जाएगा। इस बार फेस्टिवल में एक्सचेंज प्रोग्राम के तहत रांची, ग्वालियर, इंदौर, गाजियाबाद, मुम्बई, अहमदाबाद आदि शहरों के 25 स्कूल मिल कर आउटस्टेशन रिवर्स पर अध्ययन सामग्री तैयार करेंगे। जयपुर के विद्यार्थी द्रव्यवती नदी का विश्लेषण करेंगे। इनके अलावा श्रीनगर, फ्रांस और ऑकलेंड के स्कूल भी स्काइप के जरिए इस फेस्टिवल से जुडेंगे।
4-दिवसीय फेस्टिवल में विद्यार्थी द्वारा स्व-संगीतबद्ध गीत, नृत्य, क्विज, लघु नाटक, रॉक बैंड प्रस्तुति, फिल्म प्रदर्शन, बुक लॉन्च, आदि शामिल होंगे। इसमें विभिन्न नदियों की तुलनात्मक जानकारी और इनके महत्व को भी दर्शाया जाएगा।
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