जयपुर । उत्तर भारत की प्रमुख व प्रधान श्री वैष्णव पीठ श्री गलता जी में गलतापीठाधीश्वर स्वामी अवधेशाचार्य जी महाराज के सान्निध्य में मनाए जा रहे आठ दिवसीय श्री रामजन्म महोत्सव के चौथे दिन मंगलवार को सामूहिक पाठ में भगवान के वनवास का परायण किया गया।
इस अवसर पर श्री गलता पीठ स्थित वनवास के दर्शन के अति प्राचीन व विशेष विग्रह 'श्री रघुनाथ जी' की वैदिक मंत्रोच्चरण के साथ अर्चना की गई। श्री रघुनाथ जी का विग्रह श्री सम्प्रदाय के 'विशिष्टाद्वैत सिद्धान्त' का भी दर्शन है, जिसमें भगवान ब्रह्म हैं एवं उनका विग्रह पाषाण ( पत्थर ) का बना हुआ है, सीता जी माया हैं, उनका विग्रह धातु का से निर्मित है एवं जीवों के आचार्य लक्ष्मण जी जीव हैं, उनका विग्रह काष्ठ ( लकड़ी )का बना हुआ है। श्री रघुनाथ जी के विग्रह की अर्चना आध्यात्म, शिक्षा व ज्ञान के लिए की जाती है।
इस अवसर पर श्री गलता पीठ स्थित वनवास के दर्शन के अति प्राचीन व विशेष विग्रह 'श्री रघुनाथ जी' की वैदिक मंत्रोच्चरण के साथ अर्चना की गई। श्री रघुनाथ जी का विग्रह श्री सम्प्रदाय के 'विशिष्टाद्वैत सिद्धान्त' का भी दर्शन है, जिसमें भगवान ब्रह्म हैं एवं उनका विग्रह पाषाण ( पत्थर ) का बना हुआ है, सीता जी माया हैं, उनका विग्रह धातु का से निर्मित है एवं जीवों के आचार्य लक्ष्मण जी जीव हैं, उनका विग्रह काष्ठ ( लकड़ी )का बना हुआ है। श्री रघुनाथ जी के विग्रह की अर्चना आध्यात्म, शिक्षा व ज्ञान के लिए की जाती है।
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